-ज़कात, ग़रीबी के स्तर को सुधार सकती है: मुफ्ती शमशसुल हक़ मिस्बाही

– गरीबों और वंचितों के लिए शिक्षण संस्थान बनाने में हो सकता है ज़कात का इस्तेमाल: मुफ्ती अतीक़ अहमद बस्तावी

नई दिल्ली: देश के पहले ज़कात आधारित क्राउडफंडिंग प्लेटफॉर्म इंडिया ज़कात डॉट कॉम, एसोसिएशन ऑफ मुस्लिम प्रोफेशनल (एएमपी) और उम्माह वन डॉट कॉम द्वारा पांच दिवसीय वर्चुअल ज़कात सम्मेलन का आयोजन किया गया। इस सम्मेलन में ज़कात से जुड़ी भ्रांतियां, ज़कात को बेहतर ढंग से समझना, प्रबंधन करने का तरीका और समुदाय के साथ राष्ट्र को सशक्त बनाने में मदद करने संबंधी विषयों पर चर्चा की गई। सम्मेलन को भारत, साउथ अफ्रीका, मलेशिया, कनाडा, सऊदी अरब, मिस्र समेत 9 देशों से जकात विशेषज्ञ और मुस्लिम स्कॉलर्स ने संबोधित किया। विश्व भर से 800 से ज़्यादा लोग सम्मेलन में शामिल हुए।

सम्मेलन को संबोधित करते हुए इस्लामिक स्टडीज़ के हेड व नदवातुल उलेमा के महासचिव मुफ्ती अतीक़ अहमद बस्तावी ने कहा कि जकात का उपयोग गरीबों और वंचितों के लिए शिक्षण संस्थान बनाने में किया जा सकता है, इससे समुदाय के साथ ही राष्ट्र का निर्माण होगा।

दक्षिण अफ्रीका के इस्लामिक शैक्षणिक संस्थान जामिया इमाम अहमद रज़ा अहसान उल बरकात के प्राचार्य मुफ्ती शमसुल हक़ मिस्बाही ने ज़कात प्रबंधन की सबसे महत्वपूर्ण चुनौतियां विषय पर संबोधित करते हुए कहा कि वर्तमान समय में महज़ 5 प्रतिशत मुस्लिम ही जकात देते हैं। सभी मुस्लिमों को जकात के सिद्धांतों के मुताबिक सामूहिक होकर जकात दान करनी चाहिए। इससे गरीबी के स्तर में सुधार किया जा सकता है।

एएमपी के अध्यक्ष आमिर इदरीसी ने ज़कात के डिजिटलाइजेशन कलेक्शन पर ज़ोर देते हुए कहा कि इंडिया ज़कात डॉट कॉम के माध्यम से उनका प्रयास है कि ज़कात कलेक्शन और वितरण की दिशा में तकनीक की मदद से एक नया दृष्टिकोण लाया जाये। जिससे जकात प्रबंधन की प्रक्रिया आसान बनेगी और समुदाय व राष्ट्र दोनों आर्थिक सशक्त होंगे।

गैर-लाभकारी डिजिटल मार्केटिंग कंपनी उम्माह वन डॉट कॉम के संस्थापक जईम मिर्ज़ा ने कहा कि उनकी टीम पवित्र कुरान के निर्देशों के अनुसार ज़कात को समझने, उसके एकत्रीकरण और प्रबंधन के बिंदुओं पर लोगों को जागरूक करने का काम कर रहे हैं। उन्होंने बताया कि इस सम्मेलन में विश्वभर से ज़कात विशेषज्ञों और मुस्लिम विचारकों को जकात के विभिन्न पहलुओं पर मार्गदर्शन करने के लिए आमंत्रित किया गया था।

इस सम्मेलन में मिस्र से विश्व बैंक के सलाहकार डॉ. आतिफ एलसबरॉय, यूनाइटेड किंगडम से नेशनल जकात फंड के सीईओ सोहेल हनीफ और लांच गुड के ज़कात मैनेजर आरिज़ अनवर, मलेशिया से मोहम्मद जाहिद मतीन, भारत से जकात इंडिया फाउंडेशन के अध्यक्ष सैयद जफर महमूद आदि मुस्लिम स्कॉलर्स सहित विश्व भर से 800 से ज्यादा लोग शामिल हुए।

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